#Hindi Quote
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ना चांद की चाहत ना सितारों की फरमाइश, हर जन्म में तू मिले मेरी बस यही ख्वाहिश !
जो भी शर्तों पर आधारित है, वह प्रेम नहीं है।
सुनो ! तुम मेरी वो आदत हो, जिसे मैं चाह कर भी नहीं छोड़ सकता !
सात फेरों से तो, महज शरीर पर हक मिलते हैं, आत्मा में हक तो रूह के फेरों से मिलते हैं !
तुम्हें देखा तो मोहब्बत भी समझ आई, वरना इस लफ्ज़ की तारीफ सिर्फ ही सुना करता था मैं !
तर्क से परे एक आयाम है। जब तक आप वहां नहीं पहुंच जाते, आप ना तो प्रेम की मधुरता, ना ही ईश्वर को जान पाएंगे ।
मुझसे मत पूछना कि मैं तुमसे इश्क़ क्यों करता हूं, क्योंकि फिर मुझे वजह बतानी पड़ेगी अपने जीने की !
मैं बेचैन सा लगता हूं वो राहत जैसी लगती हैं मैं खो जाता हूं ख्वाबों में वो भीतर मेरे जगती हैं !
ख़ुशी, शांति और प्रेम – ये कोई आध्यात्मिक लक्ष्य नहीं हैं। यह सब तो समझदारीपूर्वक जीने की शुरुआत है।
मूल रूप में, प्रेम का अर्थ हैः पसंदों और नापसंदों से ऊपर उठ जाना।